
नागपुर. 2024 के विधानसभा चुनावों में नागपुर जिले में महिला मतदाताओं की संख्या में 2019 की तुलना में 5.57% की उल्लेखनीय वृद्धि दर्ज की गई है। यह वृद्धि मुख्य रूप से ‘लड़की बहिन योजना’ के प्रभाव को दर्शाती है, जो महिला सशक्तिकरण और जागरूकता बढ़ाने के लिए चलाई जा रही है। शहरी क्षेत्रों में महिला मतदाताओं की संख्या में 7.97% की वृद्धि दर्ज की गई, जबकि ग्रामीण क्षेत्रों में यह आंकड़ा 2.75% रहा। यह रुझान दर्शाता है कि शहरी महिलाओं ने इस योजना से अधिक प्रेरणा ली। वहीं, पुरुष मतदाताओं में शहरी क्षेत्रों में 4.8% और ग्रामीण क्षेत्रों में 1.7% की वृद्धि देखी गई।
लड़की बहिन योजना का प्रभाव
महिलाओं की ज़रूरतों को ध्यान में रखते हुए शुरू की गई ‘लड़की बहिन योजना’ ने न केवल शहरी बल्कि ग्रामीण महिलाओं को भी लोकतांत्रिक प्रक्रिया में सक्रिय भागीदारी के लिए प्रेरित किया है। इस योजना के तहत महिला कल्याण, शिक्षा, स्वास्थ्य, और सुरक्षा से जुड़ी सुविधाओं को प्राथमिकता दी गई, जिसने महिलाओं को अधिक सशक्त बनाया। इतिहास में पहली बार यह देखने को मिला कि महिलाओं की मतदान संख्या उनके पंजीकरण आंकड़ों के करीब पहुंच रही है। शहरी क्षेत्रों में यह अंतर और भी कम हुआ है, जिससे लैंगिक समानता की दिशा में एक बड़ा कदम माना जा रहा है।
चुनावी प्रक्रिया में बदलाव
नागपुर में महिला मतदाताओं की बढ़ती संख्या ने राजनीतिक दलों का ध्यान खींचा है। यह रुझान दर्शाता है कि आने वाले चुनावों में महिलाओं की भूमिका निर्णायक हो सकती है। ‘लड़की बहिन योजना’ जैसे प्रयास दिखाते हैं कि लक्षित कल्याणकारी योजनाएं न केवल मतदाता संख्या में वृद्धि करती हैं, बल्कि समाज के वंचित वर्गों को संगठित करने में भी सहायक होती हैं। नागपुर में महिलाओं का यह बढ़ता योगदान भविष्य की राजनीति को एक नई दिशा देने में अहम भूमिका निभाएगा।
2019 बनाम 2024: मतदाता आंकड़ों की तुलना